जागरूकता: सिगरेट का 70% धुआं पास बैठे व्यक्ति व वातावरण को नुकसान पहुंचाता है: डॉ. सूर्यकान्त

धुआं और धुएं से बचाव के लिए पैदल व साइकिल चलाने की सलाह

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इंडिन्यूजलाइन, लखनऊ:
सिगरेट के धुएं का केवल 30% ही धूम्रपान करने वाला व्यक्ति ग्रहण करता है, जबकि शेष 70% वातावरण को प्रदूषित करता है और पास बैठे व्यक्ति को नुकसान पहुंचाता है। यह जानकारी KGMU में रेस्पिरेटरी मेडिसिन के विभागाध्यक्ष डॉ. सूर्यकान्त ने दी। वह बुधवार को KK हॉस्पिटल के कॉलेज ऑफ नर्सिंग में वायु प्रदूषण के विरुद्ध जागरूकता के लिए एक दिवसीय कार्यशाला में पैसिव स्मोकिंग के खतरे को रेखांकित करते हुए संबोधित कर रहे थे।

लंग केयर फाउंडेशन और डॉक्टर्स फॉर क्लीन एयर एंड क्लाइमेट एक्शन ने किया जागरूक
नर्सिंग और पैरा मेडिकल छात्रों को वायु प्रदूषण के दुष्प्रभावों और उससे संबंधित स्वास्थ्य खतरों के प्रति जागरूक करने के उद्देश्य से लंग केयर फाउंडेशन और डॉक्टर्स फॉर क्लीन एयर एंड क्लाइमेट एक्शन द्वारा यह आयोजित हुआ था।

धुआं और धुएं से बचाव के पैदल चलें, साइकिल चलाएं
डॉ. सूर्यकान्त ने मौजूद सभी को धुआं और धुएं से बचाव, पैदल चलना, साइकिल चलाना, जैसी साधारण लेकिन प्रभावी आदतों को अपनाने की सलाह दी, जिससे फेफड़ों को स्वस्थ रखा जा सके। उन्होंने स्वास्थ्यकर्मियों को सलाह दी कि वे मरीजों से बातचीत के दौरान घरेलू प्रदूषण स्रोतों के बारे में पूछें। लकड़ी और कोयले का उपयोग, अगरबत्ती, धूप, पालतू जानवरों के कारण उत्पन्न कण और पैसिव स्मोकिंग आदि इसमें शामिल हैं।

वायु प्रदूषण टीबी, निमोनिया, सीओपीडी और फेफड़ों के कैंसर जैसी बीमारियों को बढ़ाता है
डॉ. सूर्यकान्त ने बताया कि वायु प्रदूषण टीबी, निमोनिया, सीओपीडी और फेफड़ों के कैंसर जैसी बीमारियों को बढ़ाता है। उन्होंने यह भी बताया कि वायु प्रदूषण बच्चों में कुपोषण, बौना विकास, मोटापा के साथ-साथ गर्भावस्था के दौरान भ्रूण पर प्रतिकूल प्रभाव डाल सकता है, जिससे इन्ट्रायूटेराइन ग्रोथ रिटार्डेशन और नवजात शिशुओं में संक्रमण व जन्मजात बीमारियों का खतरा बढ़ता है।

लकड़ी के चूल्हे पर खाना बनाना वायु प्रदूषण को बढाता है: डॉ. राजीव खुराना
लंग केयर फाउंडेशन के संस्थापक एवं ट्रस्टी डॉ. राजीव खुराना ने बताया कि लकड़ी के चूल्हे पर खाना बनाना वायु प्रदूषण को बढाता है। उन्होंने सभी से उज्जवल योजना का लाभ उठाने का अनुरोध किया। साथ ही कहा कि सार्वजनिक परिवहन का प्रयोग करें, सिंगल यूज़ प्लास्टिक को जलाना बंद करें और घर में इनडोर पौधों को लगाएं। मौके पर कॉलेज ऑफ नर्सिंग की निदेशिका व डॉक्टर्स फॉर क्लीन एयर एंड क्लाइमेट एक्शन की नेशनल कोर कमेटी सदस्या डॉ. अनीता सिंह भी मौजूद रहीं।

200 से ज़्यादा छात्रों के साथ उज्ज्वला योजना और लाइफ जैसे महत्वपूर्ण सरकारी अभियानों पर भी चर्चा
200 से ज़्यादा छात्रों के साथ उज्ज्वला योजना और लाइफ (पर्यावरण के लिए जीवनशैली) जैसे महत्वपूर्ण सरकारी अभियानों पर भी चर्चा हुई। साथ ही भारत के 2070 तक कार्बन न्यूट्रल बनने के संकल्प को दोहराया गया। मिस अनम सिद्दीकी के धन्यवाद ज्ञापन के साथ ही समापन हो गया।

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